संसद का शीतकालीन सत्र जब से शुरू हुआ है आए दिन नोटबंदी को लेकर हंगामा ही हो रहा है. राज्यसभा में पहले दिन ही नोट बंदी पर बहस शुरु हो गई थी, पर क्षेत्रीय दलो के ज्यादा तीखे तेवरो के कारण जब कांग्रेस को लगा कि वह अकेली न पड जाए तो उस ने भी अपनी रणनीति बदली और पीएम को सदन में बुलाने की जिद्द कर ली. पीएम कांग्रेस से बडे जिद्दी निकले वह भी सदन में नही आए, नतीजतन दोनो सदनो की कार्यवाही नहीं चली.आज नौवा दिन था, बुहस्पतिवार, जो पीएम के राज्यसभा में प्रश्नोतर का दिन होता है, मोदी राज्यसभा पहुंचे तो सदन की बहस फिर शुरु हो गई. मनमोहन सिंह, नरेशअग्रवाल और डेरेक ओ बरीन ने मोदी के मुह्न पर जम कर उधेडी. दोपहर भोज से ठीक पहले मायावती खडी हुई और आशंका जाहिर की कि लंच बाद मोदी नहीं आएंगे. और वही हुआ. तो गतिरोध फिर शुरु हो गया.
तीन बजे जब सदन की कार्यवाही शुरु होने वाली थी, तो सेंट्रल हाल से राज्यसभा में जाते हुए खुद भाजपा के सांसद कह कर गए थे कि 5 मिनट में लौटते हैं. उन्हे पता था कि पीएम आ नहीं रहे और विपक्ष सदन चलने नहीं देगा. विपक्ष की जिद्द थी कि प्रधानमंत्री सभी 25 लोगो का बैठ कर भाषण सुने. पीएम संसद के अपने कक्ष में बैठे रहे, लेकिन विपक्ष की मांग के आगे नहीं झुके. आखिर 9 दिन सदन के कामकाज की बर्बादी के बाद सदन की कार्यवाही शुरु हो गई थी ,लेकिन एक घंटा ही चल पाई.प्रधानम,अंत्री की मौजदगी में सुबह गुलामनबी आजाद ने कहा था कि समय की बरबादी के जिम्मेदार प्रधानमंत्री खुद हैं. उन्होने कहा कि पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के भाषण से अभी बहस शुरु हो सकती है. कांग्रेस की तरफ से नोटबंदी के मुद्दे पर बोलते हुए पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने इसे लागू करने में पीएमओ को असफल करार दिया. उन्होंने इस मुद्दे पर कहा कि ''पीएम ने ब्लैकमनी, आतंकवाद और फेक मनी को रोकने के लिए यह कदम उठाया है. मैं इससे सहमत हूं लेकिन इससे लोगों को परेशानी हुई है.''
उन्होंने आगे कहा कि ''नोटबंदी के असर को देखने के लिए हमें 50 दिन चाहिए लेकिन अब तक 50 लोगों की मौत हो चुकी है. मैं पीएम से जानना चाहता हूं कि दुनिया में ऐसा कहीं होता है कि लोग अपना पैसा बैंक से नहीं निकाल पाएं.उन्हें अपना ही पैसा निकालने से रोका जाए.''मनमोहन सिंह ने बताया कि ''नोटबंदी के प्रोसेस को बुरी तरह से हैंडल किया है. इस फैसले से सभी सेक्टर के लोगों पर असर पड़ा है. स्माल स्केल इंडस्ट्रीज पर इस फैसले से सबसे ज्यादा असर पड़ा है. आरबीआई, पीएमओ इसे लागू करने में बुरी तरह फेल रहे हैं.''
लोकसभा में कल भी हंगामा रहेगा
संसद के निचले सदन लोकसभा में गुरुवार को नोटबंदी पर विपक्ष के हंगामे के बीच सदन की कार्यवाही दिनभर के लिए स्थगित कर दी गई। विपक्ष नोटबंदी के मुद्दे पर स्थगन प्रस्ताव के तहत चर्चा की मांग कर रहा है। सदन की कार्यवाही पूर्वाह्न् 11 बजे शुरू होने के बाद दोपहर तक के लिए स्थगित कर दी गई। इसके बाद दोपहर 12 बजे कार्यवाही शुरू होने पर भी जब हंगामा नहीं थमा तो इसकी कार्यवाही दिनभर के लिए स्थगित कर दी गई. लोकसभा मे कांग्रेस के नेता मलिकार्जुन खडके ने कहा कि विपक्ष लोकसभा में कल भी स्थंगन प्रस्ताव की मांग पर अडा रहेगा. उल्लेखनीय है कि कल शुक्र्वार है, इस का मतलब है कि विपक्ष का कल सप्ताह के अखिरी दिन सदन चलाने का कोई इरादा नहीं, लेकिन संकेत हैं कि सोमवार से लोक सभा और राज्यसभा दोनो सदनो की कार्यवाही शुरु हो जाएगी. पर अगर विपक्ष अपनी मांग पर अडा रहा और प्रधान मंत्री अपनी जिद्द पर अडे रहे तो संसद का क्या होगा, कह नहीं सकते.
आपकी प्रतिक्रिया